हमारा देश विभिन्न धर्मों का देश है। कहा जाता है कि यहां पर प्राचीन से प्राचीन धर्मों का उद्भव हुआ है, और उनके प्रवर्तकों ने विश्व शांति का संदेश देते हुए संसार को सत्य अहिंसा का मार्ग दिखलाया है। इन्हीं प्रवर्तकों में जैन धर्म के प्रवर्तक भगवान 'महावीर' का जिक्र आता है, जिन्होंने पंचशील सिद्धांतों के जरिए संसार को अमृत मार्ग दिखलाया।
इन पंचशील सिद्धांतों में अहिंसा, सत्य अपरिग्रह और अचौर्य (अस्तेय) और ब्रह्मचर्य के रूप में उन्होंने हमारे सामने विभिन्न मार्ग प्रस्तुत किए।
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https://play.google.com/store/apps/details?id=in.articlepediaइस साल 2021 में 25 अप्रैल को महावीर जयंती रविवार के दिन पड़ रही है। जैन समुदाय के लिए तो यह खास पर्व है ही, साथ ही पूरे भारत में इसे हिंदू पंचांग के अनुसार चैत्र मास के 13 वें दिन मनाया जाता है।
उपलब्ध साक्ष्यों के अनुसार बिहार के कुंड ग्राम, यानी कुंडलपुर के राजपरिवार में भगवान महावीर का जन्म हुआ था, और आप जैन धर्म के 24वें तीर्थंकर माने जाते हैं। तीर्थंकर से अभिप्राय आत्मज्ञानी लोगों से है, जिन्होंने तपस्या करके संसार रूपी भवसागर को पार कराने वाले तीर्थों की रचना की, वही तीर्थंकर कहलाते हैं। इन तीर्थकरों ने अपनी इंद्रियों एवं मन पर पूरी विजय प्राप्त कर ली थी।
जहां तक भगवान महावीर के बचपन का प्रश्न है, तो बचपन में इन्हें वर्धमान के नाम से जाना जाता था, और आप महाराज सिद्धार्थ एवं महारानी त्रिशला के पुत्र थे। माना जाता है कि 30 साल की उम्र में आपने राजपाट एवं घर - बार सब कुछ त्याग दिया, और जंगल की तरफ तपस्या करने निकल गए। वहां दीक्षा ग्रहण करके 12 सालों तक आपने कठोर तपस्या की, और 'कैवल्य ज्ञान' प्राप्त करके आप तीर्थंकर कहलाए।
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महावीर जयंती के दिन तमाम जैन मंदिरों में पूजा-अर्चना होती है, तो शोभायात्रा भी निकाली जाती हैं। इस दिन भगवान महावीर को तरह - तरह के भोग लगाया जाता है, और जैन समुदाय के लोग खुशियां मनाते हैं। भगवान महावीर द्वारा दिए गए पंचशील सिद्धांत जिनमें अहिंसा, सत्य, अपरिग्रह, अचौर्य (अस्तेय) और ब्रह्मचर्य को लेकर भगवान महावीर को देश दुनिया में याद किया ही जाता है। साथ ही उनके अहिंसा के उपदेशों को जैन धर्म के लोग याद करते हैं, और अपने जीवन में अपनाने का प्रण लेते हैं। इसके अलावा अनेकांतवाद, स्यादवाद और अपरिग्रह जैसे दूसरे सिद्धांत भी भगवान महावीर द्वारा प्रतिपादित किए गए।
प्रस्तुत लेख में सामान्य जानकारियां देने की कोशिश की गई है। भगवान महावीर के बारे में आपके पास अगर कोई विशिष्ट ज्ञान है, तो कमेंट बॉक्स में अवश्य बताएं।
लेखिका: विंध्यवासिनी सिंह (Writer Vindhyawasini Singh 'Binda')
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